
बिहार की सड़कों पर सफर अब और आसान और तेज होने जा रहा है। राज्य को एक और बड़ी सौगात मिली है, जहां औरंगाबाद से दरभंगा तक का लंबा सफर अब महज 3 घंटे में पूरा किया जा सकेगा। इसका श्रेय जाता है नए एक्सप्रेसवे प्रोजेक्ट को, जिस पर गाड़ियां 100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ सकेंगी।
बिहार की कनेक्टिविटी को मिलेगा बढ़ावा
इस एक्सप्रेसवे के शुरू होने से बिहार के दक्षिण और उत्तर हिस्सों के बीच की दूरी काफी कम हो जाएगी। औरंगाबाद, जहां से यह एक्सप्रेसवे शुरू होगा, वहां से दरभंगा तक की दूरी फिलहाल कई घंटों में पूरी होती है। लेकिन अब आधुनिक तकनीक से बने इस रास्ते के कारण सफर तेज और सुविधाजनक हो जाएगा।
यात्रियों और व्यापारियों को मिलेगी राहत
तेज रफ्तार और चौड़ी सड़कों वाला यह एक्सप्रेसवे यात्रियों के लिए तो राहत है ही, साथ ही व्यापारियों के लिए भी फायदे का सौदा साबित होगा। माल ढुलाई में समय की बचत होगी और ट्रांसपोर्टेशन की लागत कम हो जाएगी। खासकर दरभंगा, मधुबनी और आसपास के जिलों में इसका बड़ा असर देखने को मिलेगा।
रोजगार और विकास की नई संभावनाएं
इस परियोजना के पूरे होने से न केवल ट्रैफिक की समस्या कम होगी बल्कि रोजगार के नए अवसर भी पैदा होंगे। एक्सप्रेसवे के आसपास इंडस्ट्री, वेयरहाउस और छोटे-बड़े कारोबारियों को नए मौके मिल सकते हैं। पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा क्योंकि पर्यटक अब तेज और सुरक्षित सफर के जरिए आसानी से गंतव्य तक पहुंच पाएंगे।
सरकार की बड़ी पहल
राज्य सरकार और केंद्र की यह संयुक्त पहल बिहार के विकास मॉडल में मील का पत्थर साबित होगी। यह एक्सप्रेसवे न सिर्फ लोगों को बेहतर सफर देगा बल्कि आने वाले समय में राज्य की अर्थव्यवस्था को भी मजबूती प्रदान करेगा।
कुल मिलाकर, औरंगाबाद से दरभंगा एक्सप्रेसवे बिहार की सड़क क्रांति का नया अध्याय लिखने जा रहा है। अब लोगों को लंबी यात्राओं में घंटों की थकान नहीं झेलनी पड़ेगी, बल्कि तेज रफ्तार में आरामदायक सफर का आनंद मिलेगा। BY Shruti Kumari